वलदूजज़िनाके पीछे नमाज़ पढ़ना कैसा है
मसअला : जैद वलदूजज़िना है और बकर साबितुन्नसब नेज इलम में भी अफजल है तो जैद के पीछे
नमाज़ पढ़ना कैसा है
जवाब : बेहतर आलिम के होते हुए वलदूजज़िना के पीछे नमाज़ मकरूहे तनज़ीही है जैसा कि बहरुल उलूम मुफती अब्दुल मन्नान राहमतुलाह अलै तहरीर फरमाते हैं कि ववलदूजज़िना की इमामत मकरुह है और अगर जमाअत में सोम व सलात मसाइले नमाज़ उस से ज़्यादह कोई जान्ने वाला है तो उस से
अफज़ल है(फतवा बहरुलउलूम पाठ १ पेज ३३८ )
واللہ تعالی اعلم بالصواب
हिन्दी ट्रान्सलेट
मौलाना रिजवानुल क़ादरी सेम्बरी